RBI MPC: कम नहीं होगी आपकी EMI, रिजर्व बैंक ने ब्याज दरों को जस का तस रखा

ज्यादातर एनालिस्ट्स ये मान रहे थे कि ब्याज दरों को लेकर रिजर्व बैंक जल्दबाजी नहीं करेगा, इसलिए दरें लगातार 7वीं बार भी पॉज रह सकती हैं.

Source: Reuters

RBI MPC Policy Updates: रिजर्व बैंक ने लगातार 7वीं बार ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया है. रिजर्व बैंक गवर्नर शक्तिकांता दास ने रेपो रेट को 6.5% पर बरकरार रखा है. यानी आपके होम लोन, कार लोन समेत बाकी सभी तरह के लोन की EMI में कोई फर्क नहीं पड़ने वाला है. रिजर्व बैंक गवर्नर शक्तिकांता दास ने कहा कि 3-5 अप्रैल के दौरान हुई मॉनिटरी पॉलिसी की बैठक में कमिटी के 6 सदस्यों में से 5 सदस्यों ने पॉलिसी रेट में कोई बदलाव नहीं करने पर अपनी सहमति जताई है.

इसके साथ ही स्टैंडिंग डिपॉजिट फैसिलिटी (SDF) दर 6.25% और मार्जिनल स्टैंडिंग फैसिलिटी (MSF) रेट और बैंक रेट 6.75% पर बरकरार है. रिजर्व बैंक गवर्नर शक्तिकांता दास ने कहा कि कमिटी के 6 सदस्यों में से 5 ने पॉलिसी रेट में कोई बदलाव नहीं करने पर अपनी सहमति जताई है. MPC ने विद्ड्रॉल ऑफ एकोमोडेशन के पक्ष में 5-1 से वोट किया है, यानी रिजर्व बैंक ने अपने रुख में भी कोई बदलाव नहीं किया है.

महंगाई रिजर्व बैंक के दायरे में

फरवरी में रिटेल महंगाई दर 5.09% रही है, जनवरी में 5.10% रही थी, जबकि दिसंबर में रिटेल महंगाई 5.69% रही थी, जो कि चार महीने की ऊंचाई है. रिजर्व बैंक महंगाई को 2-6% के बीच में ही रखना चाहता है, बीते तीन महीने से महंगाई रिजर्व बैंक की लक्ष्मण रेखा के अंदर ही है.

रिजर्व बैंक ने मई 2022 के बाद ब्याज दरों में लगातार इजाफा करना शुरू किया था, तब से लेकर अबतक 250 bps की बढ़ोतरी की गई है. फरवरी 2023 में रेपो रेट को आखिरी बार चौथाई परसेंट बढ़ाकर 6.5% किया था, तब से लेकर अबतक रेपो रेट इसी स्तर पर बरकरार है. यानी बीते एक साल से ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया गया है.

9 महीने में कोर महंगाई दर में गिरावट

रिजर्व बैंक गवर्नर ने कहा कि पिछले 9 महीनों में कोर महंगाई दर में लगातार गिरावट आई है, फ्यूल कंपोनेंट लगातार 6 महीने तक डेफ्लेशन में रहा है. शक्तिकांता दास ने कहा कि महंगाई रिजर्व बैंक के लक्ष्य के करीब पहुंच रही है, लेकिन अंतिम पड़ाव अब भी चुनौतीपूर्ण है.

गवर्नर ने कहा कि वैश्विक अर्थव्यवस्था लचीली बनी हुई है, 2024 में ग्लोबल ट्रेड तेजी से बढ़ने की उम्मीद है. विकसित देशों में सर्विसेज महंगाई स्थिर बनी हुई है. इक्विटी मार्केट में तेजी आई है. साथ ही बॉन्ड यील्ड, डॉलर में उतार-चढ़ाव बना हुआ है.

मैन्युफैक्चरिंग की वजह से औद्योगिक गतिविधि में तेजी बनी हुई है. मैन्युफैक्चरिंग के लिए PMI ने फरवरी, मार्च में लगातार बढ़ोतरी दिखाई है. सभी क्षेत्रों में मजबूत ग्रोथ दर्ज करने के साथ सेवाओं में व्यापक आधार पर उछाल देखा गया

GDP ग्रोथ

FY25 में GDP ग्रोथ 7% रहने का अनुमान है. जबकि पहली तिमाही में 7.1%, दूसरी तिमाही में 6.9%, तीसरी तिमाही में 7% और चौथी तिमाही में भी 7% रहने का अनुमान है.

रिटेल महंगाई 

रिजर्व बैंक गवर्नर ने कहा कि खाद्य महंगाई दर में लगातार अस्थिरता बनी हुई है, जिससे डिस-इंफ्लेशन की प्रक्रिया में बाधा पड़ रही है . गवर्नर ने वित्त वर्ष 2025 के लिए रिटेल महंगाई का अनुमान 4.5% रखा है. शक्तिकांता दास ने महंगाई को लेकर कहा कि 'Elephant (inflation) has now gone out for a walk and heading to the forest' यानी महंगाई में बढ़ोतरी अब थम गई है.

FPI इनफ्लो

FY24 की पहली तीन तिमाहियों के दौरान, चालू खाता घाटा काफी कम हो गया. भारत के FPI इनफ्लो में महत्वपूर्ण बदलाव देखा गया है. FY24 में नेट FPI इनफ्लो 41.6 बिलियन डॉलर रहा है, जबकि FY22 और 23 में आउटफ्लो देखने को मिला था. FY24 में शुद्ध FDI निवेश कम हुआ है.

RBI पॉलिसी की 10 बड़ी बातें

  1. ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं, रेपो रेट 6.5% पर बरकरार

  2. एकोमोडेशन की वापसी का रुख बरकरार, कोई बदलाव नहीं

  3. FY25 के लिए GDP ग्रोथ का अनुमान 7%

  4. FY25 के लिए CPI महंगाई का अनुमान 4.5%

  5. खाद्य महंगाई दर में अब भी अस्थिरता है

  6. मार्च में लिक्विडिटी की स्थिति में सुधार हुआ

  7. FY24 की पहली तीन तिमाहियों के दौरान CAD काफी कम हुआ

  8. RBI का विदेशी मुद्रा भंडार रिकॉर्ड ऊंचाई पर

  9. रुपया कई बड़ी करेंसीज के मुकाबले ज्यादा स्टेबल रहा

  10. PPI वॉलेट के जरिए UPI पेमेंट को थर्ड पार्टी के UPI ऐप्स के जरिए मंजूरी

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